Rojgar Hami Yojana : ‘रोहयो’ के तहत 105 करोड़ किये गये खर्च !

Rojgar Hami Yojana : ‘रोहयो’ के तहत 105 करोड़ किये गये खर्च !

धुले न्यूज़ : महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (Mahatma Gandhi National Rural Employment Guarantee Scheme) के तहत धुले सहित नंदुरबार जिलों में वित्तीय वर्ष 2022-23 में 105 करोड़ की राशि खर्च की गयी. कुशल कार्य के लिए धुले व नंदुरबार जिले में 9 करोड़ 91 लाख की राशि बकाया है.

नंदुरबार पर 7 करोड़ 98 लाख, जबकि धुले जिले में 1 करोड़ 93 लाख का बकाया है. प्रशासन और हितग्राहियों को भी इंतजार है कि यह राशि कब मिलेगी.

नासिक डिवीजन में दिसंबर 2022 में एक ही दिन में 800 काम शुरू किए गए थे. वर्ष 2022-23 में कुल 45 हजार 375 कार्य किये गये तथा 16 हजार 268 कार्य पूर्ण किये गये। शेष 29 हजार 107 कार्य प्रगति पर हैं. योजना के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए, प्रणाली की योजना बनाई गई, बार-बार समीक्षा की गई.

वर्ष 2022-23 में जिला परिषद व राज्य व्यवस्था के माध्यम से सभी तहसीलदारों, समूह विकास अधिकारियों के प्रयास से धुले में 36 करोड़ व नंदुरबार जिले में 69 करोड़ रुपये खर्च किए गए. महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना में व्यक्तिगत एवं सार्वजनिक कार्य कराये जा रहे हैं.

राशि के अभाव में प्रशासन बेबस है !

इस योजना के तहत कुल 264 कार्य जैसे 67 व्यक्तिगत कार्य और 197 सार्वजनिक कार्य किए जाते हैं. इस वर्ष अकुशल मजदूरी दर 256 रुपये थी.

कुशल कोष समाप्त करने वाले कार्यों में सरकारी-निजी कुएं, सड़कें, बाग, गौशाला, नर्सरी जैसे प्रमुख कार्य शामिल हैं. इसमें मशीनरी, सीमेंट, लोहा, प्लास्टिक बैग आदि की लागत शामिल है.

वन विभाग, कृषि विभाग, ग्राम पंचायत, सामाजिक वानिकी जैसे प्रमुख विभागों द्वारा कार्य किए जाते हैं. यह कुशल और अकुशल कार्य के लिए धन उपलब्ध कराता है. कुशल श्रमिकों के आधार से जुड़े बैंक खातों में मजदूरी जमा की जाती है.

अर्द्धकुशल कार्यों की राशि नरेगा आयुक्त से प्राप्त कर संबंधित के खाते में जमा की जाती है. हितग्राहियों द्वारा प्रस्ताव प्रस्तुत किए जाने के बाद इस राशि की मांग जिला स्तर से लेकर आयुक्त स्तर तक दर्ज की जाती है.

इस मांग के बाद आयुक्त कार्यालय द्वारा पंचायत समिति को निधि दी जाती है और यदि यह सार्वजनिक कार्य है तो संबंधित एजेंसी और व्यक्तिगत कार्य कुशल भुगतान सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में जमा किया जाता है. इस बीच विगत कुछ माह से कुशल भुगतान के लिए राशि नहीं मिली है. इससे हितग्राहियों सहित प्रशासन बेबस हो गया है.